भारत-गुयाना में औपनिवेशिक अतीत और समाज की विशेषताएं एक जैसी: राष्ट्रपति

भारत-गुयाना में औपनिवेशिक अतीत और समाज की विशेषताएं एक जैसी: राष्ट्रपति

राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने 17वें पीबीडी सम्मेलन में गुयाना के राष्ट्रपति से की मुलाकात

इंदौर, 10 जनवरी । राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने मंगलवार को इंदौर में 17वें प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन में सहकारी गणराज्य गुयाना के राष्ट्रपति डॉ. मोहम्मद इरफ़ान अली से रू-ब-रू मुलाकात की। उन्होंने गुयाना के राष्ट्रपति डॉ. अली का स्वागत किया और कहा कि 17वें प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन के मुख्य अतिथि के रूप में उन्हें पाकर प्रसन्नता हुई है।

राष्ट्रपति मुर्मू ने कहा कि भारत और गुयाना भौगोलिक रूप से चाहे दूर हों, फिर भी दोनों में औपनिवेशिक अतीत और बहुसांस्कृतिक समाज की विशेषताएं एक जैसी हैं। सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि बड़ी संख्या में प्रवासी भारतीय गुयाना और भारत के बीच मित्रता की स्थायी कड़ी के रूप में कार्य करते हैं।

उन्होंने कहा कि हाल के वर्षों में दोनों देशों के बीच द्विपक्षीय संबंध मजबूत हुए हैं। भारत और गुयाना के बीच व्यापार भी संवर्धित हुआ है। गुयाना में तेल और गैस की हाल की प्रमुख खोजों की ओर इशारा करते हुए उन्होंने कहा कि इस क्षेत्र में गुयाना और भारत के बीच सहयोग और आपसी संबंधों में वृद्धि की अपार संभावनाएँ हैं। उन्होंने कहा कि भारत के पास संपूर्ण तेल और गैस मूल्य श्रंखला में अपेक्षित अनुभव और विशेषज्ञता है।

राष्ट्रपति मुर्मू ने कहा कि भारत, गुयाना के साथ अपनी विकासात्मक साझेदारी को और सुदृढ़ करने का इच्छुक है। भारत को अपने क्षमता निर्माण और प्रशिक्षण सहयोग को गहरा करने में भी खुशी होगी।

राष्ट्रपति ने विभिन्न अंतरराष्ट्रीय निकायों में भारत की उम्मीदवारी और वैश्विक मुद्दों पर भारत की प्राथमिकताओं को लगातार समर्थन देने के लिए गुयाना सरकार की सराहना की।